Gautam Adani ने पिछले कुछ सालों में बहुत सारी बड़ी कंपनियों को खरीद लिया है या फिर उन कंपनियों में बड़ी हिस्सेदारी खरीद ली है। गौतम अडानी अब देश की सबसे बड़ी पॉवर ट्रेडिंग कंपनी की कुछ सरकारी कंपनियों में हिस्सेदारी खरीद सकते है।
देश का शायद ही कोई बड़ा सेक्टर बचा होगा जिसमें अडानी ग्रुप की एंट्री न हुई हो। पोर्ट्स, FMCG, रियल एस्टेट से लेकर मीडिया इंडस्ट्री तक अडानी ग्रुप ने अपनी उपस्थिति दर्ज करा दी है। एनर्जी सेक्टर में भी अडानी पॉवर काफी बड़ी और फेमस कंपनी है जिसे मजबूत बनाने के लिए यह अधिग्रहण की जा सकता है।
कौन सरकारी कम्पनियाँ अपनी हिस्सेदारी बेचने वाली है?
पीटीसी इंडिया लिमिटेड (PTC India Limited) देश की सबसे बड़ी पॉवर ट्रेडिंग कंपनी है। इसके अंतर्गत आने वाली कुछ सरकारी कंपनियाँ अपनी हिस्सेदारी बेचने की तैयारी कर रही है।
ये चार कम्पनियाँ – NTPC लिमिटेड, NHPC लिमिटेड, पॉवर ग्रिड कारपोरेशन ऑफ इंडिया और पावर फाइनेंस कोर्प (PFC), PTC इंडिया लिमिटेड के अंतर्गत कार्य करती है। इन चारों कम्पनियों का स्वामित्व भारत सरकार के पास है जिनमें इनका 4-4 प्रतिशत हिस्सेदारी है।
इन चारों कम्पनियों ने अपनी हिस्सेदारी बेचने के लिए एक सलाहकार नियुक्त किया है तथा जनवरी के अंत तक हिस्सेदारी बेचने की बोलियों की प्रक्रिया शुरू हो सकती है।
हिस्सेदारी खरीदने में Gautam Adani ग्रुप की भी दिलचस्पी?
ब्लूमबर्ग में प्रकाशित एक रिपोर्ट के अनुसार इन सरकारी कंपनियों में हिस्सेदारी खरीदने में सबसे पहले Gautam Adani ग्रुप ने दिलचस्पी दिखाई है। उम्मीद है कि बिक्री की बोलियों में अडानी ग्रुप भी शामिल हो सकता है।
इनके अलावा भी कई बिजनेस ग्रुप इन कंपनियों में हिस्सेदारी खरीदने पर विचार विमर्श कर रहे है।
हिस्सेदारी खरीदने से गौतम अडानी को क्या फायदा होगा?
एनर्जी सेक्टर में अडानी ग्रुप की पकड़ पहले से ही मजबूत है। अडानी ग्रुप कोल माइनिंग, ट्रेडिंग बिजनेस और अडानी ट्रांसमिशन के जरिये देश में बिजली का डिस्ट्रीब्यूशन और ट्रांसमिशन करता है।
अगर अडानी ग्रुप इन कंपनियों की हिस्सेदारी खरीदता है तो इनकी पकड़ एनर्जी सेक्टर में और भी ज्यादा मजबूत हो जाएगी।






